
नई दिल्ली। पिछले एक दिन से आपने भी अपनी फेसबुक वॉल या ट्विटर पर लोगों और खासकर महिलाओं को #MeToo हैशटैग इस्तेमाल करते देखा होगा। क्या आपके मन में भी सवाल है कि आखिर क्या है यह #MeToo कैंपेन क्यूं चलाया जा रहा। हम आपको बतादें कि हॉलिवुड में इन दिनों निर्माता-निर्देशक हार्वी वाइंस्टाइन से जुड़ा यौन शोषण का मामला बहुत ही तेजी से चर्चा में है। जिसे लेकर इसके खिलाफ अमेरिकन ऐक्ट्रेस ऐलिसा मिलानो ने एक कैंपेन चलाया। जिसके बाद से ही ये कैंपेन इतना हिट हुआ कि हजारों महिलाओं ने अपने साथ हुई घटना को खुलक शेयर कर रही हैं। दुनिया भर में चल रहे मीटू कैपेंन का असर अब क्रिकेट में भी देखने को मिल रहा है। न्यूलीलैंड क्रिकेट प्लेयर्स एसोसिएशन ने मीटू से संबंधित एक हैंडबुक जारी किया है।
जारी की गाइडलाइंस -
इस हैंडबुक में खिलाड़ियों के लिए कुछ गाइडलाइंस जारी किए हैं। इन गाइडलाइंस के मुताबिक खिलाड़ियों को बताया गया है कि उन्हें महिलाओं के साथ कैसा बर्ताव करना है और उनके साथ कैसे पेश आना है। एक मीडिया रिपोर्ट के अनुसार कार्यस्थल पर महिलाओं के साथ सेक्स प्रताड़ना के बढ़ते मामलों को ध्यान में रखते हुए यह कदम उठाया गया है। इन गाइडलाइंस में क्रिकेटरों को महिलाओं के साथ कैसा व्यवहार करना चाहिए और किस तरह से पेश आना चाहिए, इसके बारे में विस्तार से जानकारी दी गई है। न्यूजीलैंड क्रिकेट में पहली बार ऐसा हो रहा है कि हैंडबुक के जरिए खिलाड़ियों को यौन दुर्व्यवहार से जुड़ी बातें बताई गई हैं।
न्यूजीलैंड क्रिकेट ने अपने खिलाड़ियों को किया सचेत -
इस कैंपेन के तहत दुनिया भर में महिलाओं द्वारा बड़े बड़े खुलासे किए जा रहे हैं। ऐसे में न्यूजीलैंड क्रिकेट ने अपने खिलाड़ियों के लिए बड़ा कदम उठाते हुए पहले ही उन्हें सचेत कर दिया है और न्यूजीलैंड क्रिकेट के इस कदम को सराहनीय कहा जा सकता है। भारत में भी ये कैंपेन तेजी से आगे बढ़ रहा है। बॉलीवुड, राजनीती और खेल के कई दिग्गजों पर महिलाओं के साथ यौन दुर्व्यवहार करने के आरोप लग चुके हैं।
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